शामली में कृष्णा-नदी पर बने कई दशक पुराना पुल जर्जर:पीडब्ल्यूडी विभाग की लापरवाही पड़ सकती है भारी, नहीं है कोई वैकल्पिक व्यवस्था

शामली में कृष्णा-नदी पर बने कई दशक पुराना पुल जर्जर:पीडब्ल्यूडी विभाग की लापरवाही पड़ सकती है भारी, नहीं है कोई वैकल्पिक व्यवस्था

शामली जिले के सिसौली मार्ग पर गांव कुडाना के पास स्थित जर्जर पुल काफी पुराना हो गया है। इधर प्रशासन पुल की ओर ध्यान नहीं दे रहा है। कभी भी कोई बड़ी दुर्घटना हो सकती है। यह पुल शामली, मुजफ्फरनगर, बागपत और मेरठ जिले को जोड़ता है। जिससे वाहनों का आवागमन काफी अधिक मात्रा में रहता है।

शामली से करीब 4 किलोमीटर पूर्व में स्थित कृष्णा नदी पर स्थापित यह पुल कई दशक पुराना हो गया है। पुल काफी संकीर्ण है। इस मार्ग पर बड़े वाहनों का काफी आना-जाना लगा रहता है। जिसकी वजह से यहां जाम की स्थिति भी बनी रहती है। ग्रामीणों ने कई बार इसकी शिकायत स्थानीय प्रशासन व पीडब्ल्यूडी विभाग से भी की है। लेकिन अधिकारी बड़ी दुर्घटना के इंतजार में बैठे हुए हैं।

यद्यपि शामली से भोरा कला सिसोली मार्ग पर स्थित इस पुल के दोनों और करीब 5 साल पहले सड़क को चौड़ा कर दिया गया है। लेकिन पुल की स्थिति ज्यों की त्यों बनी हुई है। पुल पर केवल एक ही तरफ से वाहन आ जा सकते हैं। लेकिन चिंता की बात यह है कि पुल काफी कमजोर हो गया है। 60 साल से भी ज्यादा पुल बने हुए हो गया है। बड़े वाहनों का यहां से गुजरना चिंता का कारण है।   

पुल से करीब 6 किलोमीटर पूरब की ओर देहरादून दिल्ली कॉरिडोर ऐलिवेटर का निर्माण हो रहा है। इस मार्ग के निर्माण के लिए आसपास के किसानों के खेत से मिट्टी उठाई जा रही है। जिसके कारण लोड ट्रक इस पुल से गुजरते हैं। तो इससे पुल के गिरने की संभावना बनी रहती है। अब इस तरह प्रशासन कब ध्यान देगा यह एक बड़ा सवाल है।

जिला प्रशासन इस बात को तो स्वीकार कर रहा है कि पुल काफी जर्जर हो गया है। वह पीडब्ल्यूडी विभाग की लापरवाही भी मान रहा है। हालांकि पीडब्ल्यूडी विभाग ने पुल के निकट एक बोर्ड लगा रखा है। जिसमें भारी वाहनों की आवाजाही किए जाने की चेतावनी दी है। लेकिन इसके लिए कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की गई है। इसलिए भारी वाहन गुजर रहे हैं।

एडीएम शामली ने आश्वासन दिया है कि पीडब्ल्यूडी विभाग से बात करके इस पुल की मरम्मत कराई जाएगी। भारी वाहनों को सख्ती से रोका जाएगा।