गांव में करोड़ों के फर्जीवाड़ा छिपाने को दूसरे ब्लॉक की दी सूचना

ग्राम सचिव, ग्राम प्रधान एवं अवर अभियंता की मिली भगत आई सामने

गांव में करोड़ों के फर्जीवाड़ा छिपाने को दूसरे ब्लॉक की दी सूचना

गांव में करोड़ों के फर्जीवाड़ा छिपाने को दूसरे ब्लॉक की दी सूचना

थानाभवन की जगह कैराना एवं ऊन ब्लॉक की दी सूचना

शिकायतकर्ता ने बी डी ओ से की शिकायत खूब हुई नोक झोक

ग्राम सचिव, ग्राम प्रधान एवं अवर अभियंता की मिली भगत आई सामने

थानाभवन- गांव के विकास कार्य के नाम पर लेखा-जोखा की सूचना मांगने पर ग्राम सचिव ने थानाभवन ब्लॉक की जगह कैराना एवं ऊन ब्लॉक के गांव की सूचना देकर खानापूर्ति कर दी। जबकि शिकायतकर्ता ने बीडीओ के पास पहुंचकर गलत सूचना देने से अवगत कराया। शिकायतकर्ता की वीडियो से खूब नोकझोंक हुई।

शामली जनपद के थानाभवन ब्लॉक के गांव गोगवान जलालपुर निवासी बीर सिंह पुत्र रामनाथ सिंह ने गांव में 2020 से 2023 तक हुए विकास कार्यों के खर्च का लेखा-जोखा भारतीय साक्ष्य अधिनियम 1872 की धारा 76 के अंतर्गत मांगी थी। बीर सिंह ने बताया कि उन्होंने समस्त मनरेगा के मस्टरोल एस्टीमेट एमबी बैंक पासबुक कार्य पूर्ति रजिस्टर स्टॉक रजिस्टर एस्टीमेट गार्ड फाइल आदि आय व्यय के बारे में जानकारी मांगी थी। नियमानुसार जानकारी 48 घंटे में देनी होती है। जब सूचना 15 दिन में नहीं दी गई। दिसंबर 2023 में लीगल नोटिस भेजा गया। जवाब नहीं दिया गया तो अप्रैल 2024 में उपभोक्ता प्रतितोष परिषद शामली में वाद दायर किया गया। अप्रैल माह में बीडीओ को नोटिस देकर जवाब देहि मांगी गई। इसके बाद ग्राम सचिव ने उन्हें गढ़ी अब्दुल्ला खान ग्राम प्रधान नाजमा खान एवं कैराना के गांव तीतरवाडा ग्राम प्रधान संदीप प्रधान के गांव से जुड़ी खाना पूर्ति करने की कुछ सूचना उपलब्ध कराई है और जो गांव गोगवान जलालपुर से जुड़ी सूचना है जिनमें एक ही कंपनी से एसआर ट्रेडर्स एंड सप्लायर जिसका मालिक श्री राम उर्फ सहीराम दर्शाया गया है कुछ बिल सौंप गए हैं। जिनमें न तो कोई हस्ताक्षर किया गया है और ना ही कोई दिनांक लिखी गई है कुछ सूचना अपठनीय है मिली जानकारी के अनुसार गांव में तालाब में मिटटी कार्य, रास्तों में मिटटी कार्य, वृक्षारोपण और पशु टिन शेड कार्य में करीब 20 लाख रुपए का खर्च दिखाया गया है। राज्य वित्त आयोग से सीसी निर्माण में भी 8 लाख से ज्यादा का खर्च दिखाया गया है। मनरेगा के नाम पर 40 लाख रुपए वृक्षारोपण मिट्टी भराव खाद के व्यक्तिगत गडढे निर्माण तालाब खुदाई में खर्च होना बताया गया है। एसआर ट्रेडर्स एंड सप्लायर के भी 3 लाख से ज्यादा के बिल उपलब्ध कराए गए हैं। जिनमें सीमेंट रोड़ी रेत आदि खरीदना बताया गया है। शिकायतकर्ता ने बताया कि गांव में विकास कार्यों के नाम पर फर्जीवाड़ा हुआ है। फर्जीवाडे से बचने के लिए सूचना उपलब्ध नहीं कराई जा रही है।

फर्जीवाड़े में ग्राम सचिव एवं अवर अभियंता भी शामिल

विकास कार्यों के नाम पर तत्कालीन ग्राम सचिव एवं थानाभवन ब्लॉक में तैनात अवर अभियंता फर्जीवाड़ा करने में शामिल है। अवर अभियंता के द्वारा लघु सिंचाई विभाग एवं एस्टीमेट आदि बनाने को लेकर लाखों रुपया का फर्जीवाड़ा किया गया है। वही गांव में फर्जी बिल लगाकर भी लाखों रुपए की बंदरबांट हुई है। मनरेगा के नाम पर भी बड़ा घोटाला किया गया है

ब्लॉक अधिकारी से हुई नोक झोक

शिकायतकर्ता बीर सिंह ने गलत सूचना उपलब्ध कराने पर ब्लॉक अधिकारी पुनीत कुमार से थानाभवन ब्लॉक में मुलाकात करते हुए अवगत कराया तो शिकायतकर्ता एवं ब्लॉक अधिकारी की खूब नोक झोंक हुई। शिकायतकर्ता ने बताया कि सभी लोग मिले हुए हैं और फर्जीवाड़े को छिपाने के लिए गलत सूचना उपलब्ध करा रहे हैं।

अक्सर विवादों में घिरे रहते हैं अवर अभियंता

थानाभवन ब्लॉक में पिछले डेड दशक से भी ज्यादा समय से तैनात एक अवर अभियंता अक्सर ऐसे मामलों के विवाद में घिरे रहते हैं। जानकारी के अनुसार अपने विभाग के अलावा ग्राम पंचायत एवं क्षेत्र पंचायत के कामकाज का भी एस्टीमेट मोटा कमीशन लेकर बना देते हैं जो की बिल्कुल नियम विरुद्ध है। इससे पहले भी कई बार वृक्षारोपण तालाब जीर्णोद्धार एवं मनरेगा के काम को लेकर उन पर फर्जीवाड़े का आरोप लग चुका है। सरकार की तबादला नीति के अनुसार भी उक्त अवर अभियंता का अभी तक थानाभवन ब्लॉक में जमा रहना संदेह के घेरे में है। लोगों में चर्चा है कि लंबे समय से थानाभवन ब्लॉक में तैनात अवर अभियंता ने अकूत संपत्ति अर्जित कर ली है उनकी संपत्ति की जांच हो और कार्रवाई की जाए।