मिट्टी से भरे कट्टों और बल्लियों से यमुना द्वारा हो रहे कटान को रोकने की कवायद
••जागोस के किसानों ने की स्थाई समाधान की मांग
संवाददाता आशीष चंद्रमौली
बडौत | जागोस गांव में यमुना नदी किनारे के खेतों में पानी की तेज धारा से अभी भी जारी है भूमि का कटान,फसलों की बर्बादी के बाद अब जमीन के कटान से किसानों में बढी परेशानी |
इसबीच किनारे से कटान को रोकने के लिए संबंधित विभाग द्वारा प्लास्टिक के कट्टों में मिट्टी भरकर दोनों तरफ बल्लियां गाड़कर कटान को रोकने का काम शुरू हो गया है ,इसके लिए हजारों प्लास्टिक के कट्टे तथा हजारों की संख्या में बल्लियां लगाई जा रही हैं, ताकि कटान और किसानों के गन्ने की फसल के और अधिक नुकसान को रोका जा सके |
बता दें कि, यमुना नदी में पिछले दिनों आए उफान के बाद से अभी भी स्थित बहुत ही खराब होती जा रही है और रोजाना काफी संख्या में किसानों के गन्ने के खेत में कटान हो रहा है | अब तक जागोस के गन्ना किसानों की हजारों बीघा गन्ने की फसल यमुना नदी में समा गई है | आगे कटान न हो, इसके लिए संबंधित विभाग ने मिट्टी भरकर कट्टों को लगाने तथा बल्लियों से उन्हें रोकने की कवायद शुरू की है |
ग्रामीणों का कहना है कि, बल्ली और कट्टों से जमीन का कटान कुछ समय के लिए तो रोका जा सकता है ,किंतु यह स्थाई समाधान नहींं है, क्योंकि लकड़ी की बल्लियां पानी में रहकर जल्दी ही गल जाएंगी, जिससे तेज बहाव में मिट्टी के कट्टे भी बह जाएंगे |ऐसे में अब देखना होगा सरकार का यह कदम कितना कारगर साबित होता है, फिलहाल तो यमुना नदी के किनारे तेजी से खेतों में कटान हो रहा है और बड़े-बड़े पेड़ भी पलक झपकते ही यमुना नदी में समा रहे हैं | यमुना नदी पर किसान गन्ने की खड़ी फसल उजड़ती देख बहुत गहरे सदमे में व बेहद चिंतित हैं |
दौरे के लिए जनप्रतिनिधियों के न आने से आक्रोश
जागोस ग्राम वासियों में इस बात को लेकर भी आक्रोश है कि,अभी तक उनके गांव के यमुना नदी पर बाढ़ प्रभावित क्षेत्र का सांसद ,मंत्री या विधायक सहित भाजपा नेताओं ने कोई दौरा भी नहीं किया | किसानों का कहना है कि ,सांसद, मंत्री ,विधायक चुनाव के दौरान वोट मांगने तो आ जाते हैं, मगर जब ग्रामीणों के ऊपर समस्या पडती है ,तो अपने उन्हीं क्षेत्रों का दौरा करने को भी भूल जाते हैं |