मानक विहीन नर्सिंग मे आपरेशन से बच्चे की गई जान परिजनों का आरोप।
कार्यवाही के नाम पर खानापूर्ति कर जिम्मेदार ,सरकार की करा रहे किरकिरी।
रमेश बाजपेई
हरचंदपुर रायबरेली। स्वास्थ्य विभाग लाख दावे करता है कि उनके द्वारा बिना रजिस्ट्रेशन के चलने वाले अस्पताल व नर्सिंग होम पर सख्ती करके अंकुश लगाया जा रहा है। समय-समय पर उनके रजिस्ट्रेशन व अन्य सुविधाओं को लेकर जांच होती है। लेकिन कोई ना कोई ऐसी घटना आ जाती है जिसमें उपचार के लिए पहुंचने वाले मरीज की जान के साथ खिलवाड़ होता है। दर्जनों ऐसी घटनाएं होती हैं लेकिन अभी तक स्वास्थ्य विभाग साल्टर हाउस की तरह चलने वाले अवैध नर्सिंग होम पर कोई कड़ी कार्रवाई नही हुई। जिसकी वजह से बिना रजिस्ट्रेशन केचलने वाले नर्सिंग होम में मरीज अपनी जान गंवा रहे हैं। ताज़ा मामले में क्षेत्र के स्थानीय निवासी आनंद मोहन श्रीवास्तव की पत्नी विशाखा श्रीवास्तव की डिलीवरी उपमा सुर्जरानी पॉलीक्लिनिक हरचंदपुर में होनी थी। प्रसूता को जब लेबर पेन उठा तो उसे लेकर नर्सिंग होम लाया गया। यहां के संचालक नीरज श्रीवास्तव ने कहा कि प्रसूता का ऑपरेशन होगा जिसके लिये सर्जन को बुलाया जाएगा। देर रात जब लेबर पेन अचानक बढ़ गया तो आरोप है कि आनन-फानन में ही नीरज श्रीवास्तव व उनके सहकर्मियों द्वारा प्रसूता की डिलीवरी करने के लिए ऑपरेशन किया जाने लगा। बच्चे की नाल काटते समय बच्चे की मौत हो गई। जबकि प्रसूता की हालत गंभीर बनी हुई है। पीड़ित आनंद मोहन श्रीवास्तव का आरोप है कि नीरज श्रीवास्तव के पास कोई डिग्री नहीं है और सर्जन की गैर मौजूदगी में उन्होंने ऐसा किया। जिसके कारण यह घटना हो गई। उनका कहना है कि नीरज श्रीवास्तव सिर्फ एक लैब टेक्नीशियन है। बच्चे की मौत के बाद आनंद मोहन श्रीवास्तव ने 112 को कॉल किया व नर्सिंग होम के संचालक के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवा दी है। पोस्टमार्टम की कार्रवाई के लिए भी प्रयास किया जा रहा है ताकि नर्सिंग होम संचालक के खिलाफ सख्त कार्रवाई हो सके। इस मामले में अभी तक नर्सिंग होम संचालक का पक्ष नहीं आया है।