जयंत चौधरी द्वारा सादिकपुर सिनौली साइट का मुद्दा राज्यसभा में उठाए जाने पर इतिहासकार डॉ अमित राय जैन ने जताया आभार
संवाददाता नीतीश कौशिक
बागपत | राष्ट्रीय लोक दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष सांसद जयंत चौधरी द्वारा कल संसद के शीतकालीन सत्र में जनपद बागपत के ऐतिहासिक पुरातत्व विभाग के महत्व वाले स्थल ,सिनौली के उत्खनन को लेकर सवाल उठाया, तो सिनौली उत्खनन में विशेष भूमिका निभाने वाले इतिहासकार डॉ अमित राय जैन ने उनका आभार जताया |
शहजाद राय शोध संस्थान में विशेष तौर पर इस संबंध में एक बैठक का आयोजन किया गया, जिसमें सांसद जयंत चौधरी का सिनौली में अधिग्रहित की गई जमीन पर वृहद् उत्खनन किए जाने की मांग और संग्रहालय निर्माण को लेकर उठाई गई मांग पर आभार व्यक्त किया गया |
गौरतलब है कि ,सन 2005 में सिनौली क्षेत्र में उत्खनन शुरू हुआ था तथा बाद में सन् 2007 में शहजाद राय शोध संस्थान के निदेशक डॉ अमित राय जैन के सिनोली दौरे के समय उन्हें वहां से कुछ ताम्र युगीन संस्कृति के अवशेष भी प्राप्त हुए थे, जिसके आधार पर उन्होंने सिनौली में दोबारा उत्खनन की लगातार मांग किए जाने के उपरांत उस समय के संस्कृति मंत्री डॉ महेश शर्मा के निर्देश पर सिनौली का दूसरी बार उत्खनन किया गया था |
डॉ अमित के द्वारा बताए गए स्थल पर ट्रेंच लगाने के पहले दिन ही भारत में पहली बार युद्ध रथ का पहिया सामने आया | उसके बाद वहां से संपूर्ण विश्व के इतिहासकारों के लिए आश्चर्य का विषय बने पूरे 3 युद्ध रथ एवं महिला योद्धाओं के शवाधान केंद्र प्राप्त हुए |
इसके बाद से लगातार सिनौली विश्व के इतिहासकारों एवं पुरातत्व प्रेमियों के लिए चर्चा एवं शोध का विषय बना हुआ है |अभी फिलहाल में वहां की करीब 350 बीघा जमीन केंद्र सरकार द्वारा अधिग्रहित एवं ऐतिहासिक स्थल घोषित की गई है, परंतु इसके बावजूद पिछले 2 साल में 4 बार संस्कृति मंत्रालय को पत्र दिए जाने के बावजूद कोई भी कार्यवाही उत्खनन इत्यादि की नहीं की जा रही थी , रालोद मुखिया जयंत चौधरी द्वारा राज्यसभा में मुद्दा उठाए जाने के बाद अब इतिहासकारों को उम्मीद जगी है कि, केंद्र सरकार का संस्कृति मंत्रालय संज्ञान लेते हुए अवश्य कार्यवाही करेगा |