ठेकेदार की गलती से किसानों की सैकड़ो बीघा फसल पानी से हुई थी बर्बाद
झूठा निकला किसानों को मुआवजे का आश्वासन, बन्द कराया हाईवे का काम
झूठा निकला किसानों को मुआवजे का आश्वासन, बन्द कराया हाईवे का काम
- दो माह से किसानों को मुआवजा देने का मिलता रहा झूठा आश्वासन
- ठेकेदार की गलती से किसानों की सैकड़ो बीघा फसल पानी से हुई थी बर्बाद
थानाभवन- हाईवे कंपनी की लापरवाही के कारण किसानों की फसल बर्बाद के मामले में मुआवजा देने का आश्वासन दो माह बाद भी पूरा न होने से नाराज दर्जनों से ज्यादा किसानों ने हाईवे के चल रहे काम को धरना प्रदर्शन करते हुए बंद कर दिया। मौके पर पहुंची पुलिस से भी किसानों की नौक झोंक हुई। किसानों ने ठेकेदार व जिला प्रशासन पर झूठा आश्वासन देने का आरोप लगाया।
दिसंबर माह में दिल्ली देहरादून हाईवे कंपनी के निर्माण कार्य के कारण शामली के गाँव गोगवांन जलालपुर के जंगल से होकर गुजरने वाले रजवाहे का पानी दर्जनों से ज्यादा किसानों की फसल में भर जाने के कारण किसानों की सैकड़ो बीघा फसल बर्बाद हो गई थी। जिस कारण किसानों ने हाईवे का काम बंद कर कर मुआवजे की मांग की थी। उप जिलाधिकारी के आदेश पर नायब तहसीलदार एवं राजस्व विभाग की टीम ने किसानों की बर्बाद फसल के मुआवजे को ठेकेदार से दिलवाने का आश्वासन दिया था। लेकिन दो माह बीत जाने के बावजूद भी जब किसानों की फसल का मिलने वाले मुआवजे का वायदा पूरा नहीं हुआ तो नाराज किसानों ने हाईवे कंपनी का काम मौके पर पहुंच कर बंद कर दिया। इसके बाद सूचना पर बाबरी पुलिस भी पहुंची किसानों का आरोप है कि पुलिस ने उन्हें मुकदमा दर्ज करने की धमकी भी दी हालांकि बाद में पुलिस ने किसानों के नुकसान को भी माना। किसानों का आरोप है कि उनकी फसल ठेकेदार की लापरवाही के कारण बर्बाद हुई थी जिसका मुआवजे का आश्वासन मिला था लेकिन अब ना तो ठेकेदार उन्हें मुआवजा दे रहा है और ना ही उनका फोन उठा रहा है। जबकि जिला प्रशासन ने भी अभी तक कोई मदद नहीं की। नाराज किसानों ने धरना प्रदर्शन शुरू कर दिया। सूचना पर नायब तहसीलदार रविन्द्र कुमार भी मौके पर पहुंचे थे। नायब तहसीलदार रविंद्र कुमार से जब जानकारी ली गई तो उन्होंने बताया कि वह उप जिलाधिकारी के आदेश पर सरकारी काम से मौके पर पहुंचे थे वहां पर क्या हुआ है इसके बारे में वह जानकारी नहीं दे सकते। इस दौरान किसान सुबोध शर्मा अमरपाल पाल सिंह,सर्वेश बॉस, विनोद कुमार विक्की आदि मौजूद रहे