पांच इंद्रियों को वश में करके प्राप्त करें सिद्धि, जबकि दुरुपयोग से विनाश :दंडी स्वामी सत्यदेव आश्रम
संवाददाता आशीष चंद्रमौलि
बडौत। श्री सनातन धर्म प्रचारिणी महासभा के तत्वाधान में चातुर्मास कर रहे दंडी स्वामी सत्यदेव आश्रम जी महाराज ने महाराजा अग्रसेन भवन में श्रीमद् भागवत महापुराण कथा को सुनाते हुए श्रद्धालुओं को बताया, मानव शरीर में पांच इंद्रियां होती हैं आंख,नाक ,कान , जीभ और स्पर्श। आंख के स्वामी सूर्य देव हैं, कान के स्वामी आकाश, नाक के स्वामी पृथ्वी माता है, जिह्वा के स्वामी जल तथा स्पर्श या त्वचा के स्वामी वायु देव हैं।
बताया कि,इन सभी पांचों इंद्रियों के स्वामी मन हैं। सभी इंद्रियों के एक दूसरे के सहयोग से ही शरीर सिद्ध होता है । इंद्रियों को सिद्ध कर व्यक्ति सिद्धियों को प्राप्त कर सकता है, जबकि इनके दुरुपयोग से विनाश की ओर अग्रसर भी हो जाता है । महासभा के सचिव डॉ दीपक गौतम ने बताया ,आज का पुराण पूजन एवं आरती राजेंद्र दुहण रोडवेज के परिवार द्वारा की गई ,कथा में कृष्ण पाल शर्मा डॉ रमेश वशिष्ठ पिंटू अग्रवाल टेंट वाले मंसाराम हंसराज गुप्ता प्रदीप संजीव आदि विशेष सहयोगी रहे जबकि आरती के पश्चात श्रद्धालुओं में प्रसाद वितरण किया गया।