राष्ट्रीय लोक अदालत की तैयारी जोरों पर: चिन्हित होंगे निस्तारण योग्य वाद।
चित्रकूट। राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण एवं उत्तर प्रदेश राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधान में 14 दिसंबर को आयोजित होने वाली राष्ट्रीय लोक अदालत की तैयारियां जोरों पर हैं। इस संबंध में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के अध्यक्ष एवं जनपद न्यायाधीश विकास कुमार प्रथम ने सोमवार को विभिन्न प्रशासनिक विभागों के अधिकारियों के साथ द्वितीय चरण की बैठक की।
जनपद न्यायाधीश ने कहा कि लोक अदालत में अधिक से अधिक वादों का निस्तारण सुनिश्चित करने के लिए सभी विभाग ऐसे मामलों को चिन्हित करें, जो लोक अदालत के माध्यम से सुलझाए जा सकते हैं। साथ ही, संबंधित पक्षकारों को नोटिस और सम्मन तत्काल प्रभाव से भेजे जाएं और उन्हें समय पर तामील कराया जाए।
निस्तारण हेतु चिन्हित वाद
अपर जिला जज और प्राधिकरण की सचिव नीलू मैनवाल ने बताया कि लोक अदालत में निम्न प्रकार के मामलों का निस्तारण किया जाएगा:
शमनीय आपराधिक वाद
धारा 138 एन.आई. एक्ट
मोटर दुर्घटना दावा
श्रम, बैंक वसूली, और विद्युत अधिनियम से संबंधित मामले
जल वाद, सेवा मामले, पारिवारिक व वैवाहिक वाद
भूमि अधिग्रहण, राजस्व चकबंदी वाद
किराएदारी, सुखाधिकार, स्थायी निषेधाज्ञा
मोटर वाहन ई-चालान और लघु आपराधिक वाद
इसके अलावा उपभोक्ता फोरम और आर्बिट्रेशन से जुड़े मामलों का भी निस्तारण होगा।
बैठक में अधिकारियों की सहभागिता
बैठक में परिवार न्यायालय के प्रधान न्यायाधीश राकेश कुमार यादव, अपर जिला जज अनुराग कुरील, श्रमायुक्त आर.के. गुप्ता, जिला पंचायत राज अधिकारी इंद्र नारायण सिंह, उप संभागीय परिवहन अधिकारी दीप्ति त्रिपाठी, जिला दिव्यांगजन कल्याण अधिकारी प्रियंका यादव, जिला सूचना अधिकारी सुरेंद्र कुमार, चकबंदी अधिकारी मनोहर लाल और आपूर्ति निरीक्षक अनुज कुमार पटेल सहित अन्य अधिकारी उपस्थित रहे।
सुलह-समझौते का सुनहरा अवसर
राष्ट्रीय लोक अदालत पक्षकारों के लिए विवादों के शीघ्र, सुलभ और कम खर्चीले समाधान का अवसर प्रदान करती है। जनपद न्यायाधीश ने सभी विभागों से अपेक्षा की है कि वे इस पहल को सफल बनाने में पूर्ण सहयोग करें और अधिकतम वादों का निस्तारण सुनिश्चित करें।