43 वे इंडिया कारपेट एक्सपो के सफलतापूर्ण आयोजन पर सीईपीसी ने जिलाधिकारी को स्मृति चिन्ह भेंट कर कृतज्ञता व धन्यवाद ज्ञापित की
अपने उद्देश्यों सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देना व कालीन के हस्त बुनाई कौशल का प्रदर्शन करने में सफल रहा इंडिया कारपेट एक्सपो - डीएम गौरांग राठी
विदेशी बाजारों में "मेक इन इंडिया ब्रांड" को पेश करने में सहायक हुयी इंडिया कारपेट एक्सपो मेला- जिलाधिकारी
भदोही 23 नवंबर 2022 /कालीन निर्यात संवर्धन परिषद के सदस्यों एवं कालीन निर्यातकों ने भदोही कारपेट एक्सपो मार्ट में 15-18 अक्टूबर, 2022 तक "43वें इंडिया कारपेट एक्सपो" को दिव्यता व भव्यता के साथ शानदार सफल आयोजन पश्चात जिलाधिकारी गौरांग राठी को स्मृति चिन्ह भेंट करते हुए प्रशासन व पुलिस द्वारा शानदार व्यवस्था के प्रति आभार एवं कृतज्ञता व्यक्त किया गया।
जिलाधिकारी ने कहा कि भदोही में पहली बार आयोजित इंडिया कारपेट एक्सपो अपने उद्देश्य सांस्कृतिक विरासत को बढ़ावा देना और भारतीय कारीगरों के हाथ से बुने हुए कालीन के बुनाई कौशल का प्रदर्शन करने में सफल रहा ।जिलाधिकारी गौरांग राठी द्वारा आयोजकों और निर्यातकों को भी आभार व्यक्त करते हुए धन्यवाद के साथ बधाई दिया गया ।
जिलाधिकारी ने बताया कि यह मेला भदोही और आसपास के क्षेत्रों के लोगों के लिए व्यापार के नए रास्ते खोला । उन्होंने कहा कि भदोही का पहला कालीन मेला जिले के लिए बड़े गर्व की बात है और कालीन उद्योग से जुड़े निर्यातकों को भदोही जिले में आयोजित इंडिया कारपेट एक्सपो से काफी लाभ मिला ।इस एक्सपो से उद्योग के लिए बाजार के नए अवसर खुलें और छोटे और मध्यम भारतीय कालीन निर्यातकों को अपने उत्पादों को विदेशों में बढ़ावा देने में मदद मिली।
इंडिया कारपेट एक्सपो में व्यापक पैमाने पर,विदेशी बाजारों में "मेक इन इंडिया ब्रांड" को पेश करने में सहायक हुयी । उन्होंने आगे कहा कि इंडिया कार्पेट एक्सपो अंतरराष्ट्रीय कालीन खरीदारों, एजेंटों, आर्किटेक्ट्स और भारतीय कालीन निर्माताओं और निर्यातकों को मिलने और दीर्घकालिक व्यापार संबंध स्थापित करने के लिए एक आदर्श मंच साबित हुआ ।
कालीन निर्यात संवर्धन परिषद ने देश भर के 239 प्रतिष्ठित छोटे, मध्यम और बड़े निर्माता निर्यातकों जैसे उत्तर प्रदेश, राजस्थान, हरियाणा, जम्मू और कश्मीर, पंजाब, मध्य प्रदेश आदि के उत्पादों का प्रदर्शन किया गया । यह विशेष व्यवसाय प्रदान करने के लिए परिषद का प्रयास है। दोनों कालीन आयातकों के साथ-साथ निर्माता-निर्यातकों के लिए एक आदर्श मंच है जो अंततः इस अत्यधिक श्रम गहन ग्रामीण आधारित एमएसएमई कुटीर उद्योग में कार्यरत लगभग 2 मिलियन बुनकरों और कारीगरों को लाभान्वित किया।
मेले के आयोजक यानी सीईपीसी ने बताया कि वर्तमान मंदी की प्रवृत्ति में भारत कालीन एक्सपो में दुनिया भर से 208 विदेशी खरीदारों की उपस्थिति ने भारत कालीन एक्सपो की स्थिति और अंतर्राष्ट्रीय बाजार में भारतीय उत्पादों की मांग को स्थापित किया है। यह आयोजन मध्यम और छोटे निर्यातकों के लिए फायदेमंद रहा । जो एक तरफ विदेशी प्रदर्शनियों में अपने उत्पादों को प्रदर्शित करने का जोखिम नहीं उठा सकते हैं और दूसरी तरफ उत्पादन और आपूर्ति में भारत की क्षमता दिखाते हैं।
सीईपीसी के सदस्यों एवं निर्यातकों ने खुशी व्यक्त की तथा मेले को भव्यता के साथ सफलतापूर्वक संपादित कराने के लिए जिलाधिकारी के अथक प्रयासों के लिए आभार व्यक्त कर कृतज्ञता ज्ञापित की गई । इस अवसर पर सीईपीसी समिति के सदस्यों - असलम महमूद, सूर्यमणि तिवारी, श्रीराम मौर्य, इम्तियाज अहमद ,दर्पण बरनवाल ,संतोष उपाध्याय ,शमीम अहमद, उपायुक्त उद्योग उमेश चंद्र, रंजन कुमार आदि उपस्थित रहे ।