Bullet के कानफोड़ू साइलेंसरों पर चला रोडरोलर, हापुड़ पुलिस की बड़ी कार्रवाई
रिपोर्ट आलम अंसारी
Bullet बाइक का युवाओं पर क्रेज सिर चढ़कर बोल रहा है। युवा बुलेट खरीदकर उसके ऑरिजनल साइलेंसर को हटवाकर पटाखे या गोलियों जैसी आवाज निकालने वाले साइलेंसर लगवा रहे है, जिससे कान फोडू आवाज निकल रही है, इससे राहगीर के साथ साथ आमजन परेशान हो रहे है। ऐसे तेज आवाज करने वाले साइलेंसरो पर पाबंदी लगाई गई है, इसके बावजूद युवा बाज नहीं आ रहे हैं। जिसके चलते पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा ने आपरेशन पटाखा अभियान चलवा रखा है। जनपद पुलिस और यातायात पुलिस ने एेसी बाइकों पर लगे करीब 400 साइलेंसरों को रोडरोलर की मदद से मेरठ तिराहा पर नष्ट कराया गया
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पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा के निर्देशन पर यातायात पुलिस ने तेज़ आवाज़ करने वाले एवं पटाखा फोड़ने वाले बुलेट साइलेंसर को जब्त कर यह कार्यवाही की। आपको बता दे कि कुछ दिन से शहर की सड़कों पर फर्ऱाटे से दौड़ लगती व तेज आवाज़ बुलेट से राहगीर परेशान थे। जिसे देखते हुए यातायात पुलिस ने एसपी के निर्देश पर विशेष अभियान चलाकर बुलेट चालकों को पकड़ा और उनके साइलेंसर को ज़ब्त किया। यातायात पुलिस ने बताया कि बुलेट (Bullet)में लगे अमानक और अवैध साइलेंसर आम जन को परेशान करते हैं जिससे ध्वनि प्रदूषण एवं राहगीरों को परेशानी होती है ऐसे वाहन चालकों को चिन्हित कर यातायात पुलिस लगातार कार्रवाई करती रहेगी एवं उनके साइलेंसर को ज़ब्त कर भारी चालान बनाया जाएगी।
पुलिस अधीक्षक अभिषेक वर्मा ने बताया कि जनपद हापुड़ में लोगों की एेसी शिकायतें आ रही थी कि लोग अपनी मोडिफाइड बुलेट (Bullet)लेकर पटाखे छोड़ते हैं और उससे ध्वनि प्रदूषण पैदा करते हैं, साथ ही साथ कुछ अपने गली मोहल्लों में जाकर के दूसरे मोहल्ले में जाकर चिढ़ाने की प्रवृत्ति से यह लोग काम करते थे। इसको हम लोगों ने बड़ी गंभीरता से लिया है। अब तक लगभग 750 बुलेट मोटरसाइिकल एेसी हैं जिनके हमने यह साइलेंसर उतरवाए हैं। आज करीब 400 मोटर साइकिल के साइलेंसर नष्ट किए जा रहे हैं। इसकी कीमत लगभग नौ लाख रुपये है।
एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि सेक्शन 52 मोटर व्हीकल एक्ट के तहत यह एक दंडनीय अपराध है और हाईकोर्ट ने भी इसमें टिप्पणी की है और यह निर्देश दिया है कि जो भी बुलेट (Bullet)या किसी भी कंपनी की मोटरसाइिकल आप खरीद रहे हैं उसमें किसी भी तरह की छेड़छाड़ नहीं कर सकते हैं। उन्होंने बताया कि साइलेंसर के बाहर जो आवाज आती है उसकी सीमा 80 डेसिमेल तय की गई है। जिन मोटरसाइिकलों के साइलेंसर उतारे हैं उनके साइलेंसरों की आवाज को नापा गया तो वह 120 से 150 डेसिमल तक आवाज आती थी, जिसकी अनुमति नहीं है।
एसपी अभिषेक वर्मा ने बताया कि जनपद हापुड़ व यातायात पुलिस द्वारा इस तरह की कार्रवाई लगातार की जा रही है, आगे भी इस तरह की कार्रवाई करते रहेंगे और जनता से अपेक्षा करते हैं कि वह इस तरह के मोडिफाइड साइलेंसर और बुलेट (Bullet) पर जो इस तरह के साइलेंसर लगाकर चलते हैं उसको न लगाएं और यातायात नियमों का पालन करें।