आसमान में छाई रही कोहरे की धुंध कंपकपाये हाढ़ अलाव बना सहारा घरों में कैद हुए लोग।
इसरार अंसारी
मवाना जनवरी माह के चलते सर्दी का प्रकोप लगातार दिन प्रतिदिन बढता जा रहा है । बुधवार को अधिकतम तापमान में गिरावट होने के बाद पूरे दिन शीतलहर हवाएं चलती रही। सूर्य देव की लुकाछुपी के साथ ठंडी हवाएं चलने से सर्दी का पूरा असर बरकरार रहा। ठिठुराने वाली ठंड ने आम आदमी के साथ जीव-जंतुओं पर भी असर डालना शुरू कर दिया है इससे दिनचर्या प्रभावित होने लगी है । कड़कड़ाती ठंड में जन और जीव, दिनचर्या प्रभावित होते हुए देख लोग अलाव का सहारा लेकर ठंड को दूर कर रहे हैं घने कोहरे के चलते बाजारों में ग्राहकों का भी टोटा पड़ रहा है। सर्दी का प्रकोप लगातार जनवरी के चौथे दिन भी जारी रहा। ठिठुराने वाली ठंड ने आम आदमी के साथ जीव-जंतुओं पर भी असर डालना शुरू कर दिया है। लगातार बढ़ती ठंड से बचाव के लिए लोग अपने स्तर पर उपाय करते नजर आए। बाजारों में दुकानदार अलाव का सहारा लेकर आग पर हाथ तापते नजर आए तो दफ्तरों में हीटर पर हाथ तापते मिले तो वही गर्म हवा देने वाले ब्लोअर चलते नजर आए। वही शीतकालीन अवकाश होने से स्कूल कॉलेजों के छात्र छात्राएं घर में रहकर ही अपना समय बिता रहे हैं। सर्दी में अब सुबह जल्दी उठने का मन किसका करता है। बच्चों को छोड़ो, बड़े ही लिहाफ से नहीं निकलते। ऐसे में स्कूल की छुट्टियों की अवधि बढ़ने पर पढ़ने वाले बच्चों में खुशी की लहर दौड़ गई है। गृहणी अर्चना , सोनिया शर्मा, ललिता , प्रियंका के अनुसार कड़कड़ाती सर्दी में बच्चे स्कूल जाने में आनाकानी करने लगे थे लेकिन अब शीतकालीन अवकाश घोषित होने पर बच्चों को राहत मिल गई है। इस संबंध में सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पर तैनात बाल रोग विशेषज्ञ डॉ अनिल शर्मा से बात की गई तो उन्होंने बताया कि सर्दी के मौसम में हृदयघात के मामले बढ़ जाते हैं। सर्दियों के मौसम मैं शरीर की नसें सिकुड़ जाती हैं, जिसके चलते हृदय में खून का बहाव सुचारू तरीके से नहीं हो पाता, जो हृदयघात का कारण बनता है। उन्होंने बताया कि इस मौसम में हृदय रोगी दमा रोगी एवं स्वांस संबंधित रोगी सुबह के समय बाहर सैर नहीं करें। दवाएं नियमित रूप से लें और किसी भी प्रकार की दिक्कत होने पर तुरंत अपने नजदीकी डॉक्टर से संपर्क करें।