जवाहर नवोदय में कुकर्म कांड का दोषी कौन
कुकर्म कांड से ही जुड़ा है स्कूल में मारपीट का मामला
जवाहर नवोदय में कुकर्म कांड का दोषी कौन
- एक माह से चल रहे मामले को छिपाने को लेकर स्कूल प्रशासन ने किया खेल
- कुकर्म कांड से ही जुड़ा है स्कूल में मारपीट का मामला
शामली- जवाहर नवोदय विद्यालय में एक छात्र के पिता ने अपने बेटे के साथ उसी के आठ सहपाठियों द्वारा कुकर्म करने एवं उसका उत्पीड़न करने का आरोप लगाकर मुकदमा दर्ज कराया है, लेकिन इस कुकर्म कांड का असली दोषी कौन है। धीरे-धीरे अब परत खुलने लगी हैं। सूत्रों की माने तो स्कूल प्रशासन ने एक माह से चल रहे मामले को दबाने के लिए लीपा पोती कर आठ छात्रों को कुकर्म कांड का दोष मढ़कर मामले को कुछ अलग ही रूप दे दिया।
शामली के जवाहर नवोदय विद्यालय में एक छात्र के साथ शारीरिक एवं मानसिक उत्पीड़न व मारपीट करने का मामला अब प्रदेश भर में सुर्खियां बना हुआ है। पीड़ित छात्र के पिता ने आठ छात्रों के खिलाफ कुकर्म एवं जान से मारने का प्रयास व उत्पीड़न करने का गंभीर आरोप लगाकर मुकदमा दर्ज कराया है। अब जैसे-जैसे मामला सुर्खियों में आया मामले की परत दर परत जानकारी बाहर आने लगी है। सूत्रों की माने तो 20 अगस्त की रात्रि में जवाहर नवोदय विद्यालय में छात्रों के दो गुटों में जमकर मारपीट हुई थी। विद्यालय में इतने बड़े स्तर पर मारपीट में कई छात्रों को भी चोट लगी। मामला बढ़ा तो पुलिस को भी बुलाना पड़ा। कई छात्रों को पुलिस ने हिरासत में ले लिया था। इस पूरे मामले में नवोदय विद्यालय के स्कूल प्रशासन ने जब छात्रों से झगड़े की वजह पूछी तो स्कूल प्रशासन के पैरों तले से जमीन ही खिसक गई। छात्रों ने जो जानकारी दी वह बेहद ही चौंकाने वाली थी। छात्रों ने बताया कि एक छात्र की वजह से स्कूल में छात्रों के दो गुटों में यह संघर्ष हुआ है। छात्र के पिता को भी मामले की जानकारी देकर छात्र को उसके साथ भेज दिया गया था। जबकि स्कूल प्रशासन ने अपना पल्ला झाड़ने के लिए छात्र पर अपने हिसाब से एक प्रार्थना पत्र लिखवा कर कुछ छात्रों पर इसका सारा दोष मढकर आरोपित छात्रों के परिजनों को बुलाया था। जिसमें उन्होंने पीड़ित छात्र के परिजनों एवं आरोपित छात्रों के परिजनों को बुलाया लेकिन असली वजह को कुकर्म कांड में फंसने वाले छात्रों के परिजनों से छिपा लिया। इसी कारण मामला इतना बढ़ गया कि पीड़ित छात्र ने पुलिस को तहरीर देकर कार्रवाई की मांग की। पुलिस ने आनन फानन में आठ छात्रों के खिलाफ कुकर्म एवं गंभीर आरोप में मुकदमा दर्ज कर लिया। जिसमें से कई छात्र ऐसे हैं कि जिनकी उम्र 12 वर्ष से भी कम है। जब इस मामले की गूंज लखनऊ तक पहुंची तो पुलिस प्रशासन एवं अन्य कई कमेटियों ने भी जांच शुरू की। अब सूत्रों की माने तो जानकारी धीरे-धीरे खुलने लगी है। अगर गहनता से मामले की जांच के बाद मामले की जो सच्चाई है सबके सामने आई तो जिन छात्रों को आरोपित बनाया गया है उनमें से कुछ छात्र निर्दोष एवं कई अन्य छात्रों पर भी प्रकरण की आंच आ सकती है। जबकि स्कूल ने लगभग दो दर्जन छात्रों को फिलहाल टर्मिनेट कर दिया है। सूत्रों की माने तो पूरे प्रकरण को स्कूल प्रशासन ने कुछ और ही अलग रूप दे दिया है। अगर घटना गंभीरता से जांच होगी तो स्कूल प्रशासन के कई लोगों पर भी मुकदमे की आंच आ सकती है और कई लोगों को जेल की हवा खानी पड़ सकती है। वही इस पूरे प्रकरण में कई छात्रों का भविष्य बिना कारण भी बर्बाद होने की आशंका से भी इनकार नहीं किया जा सकता। हालांकि शामली पुलिस कई अलग-अलग स्तर से मामले की गंभीरता के साथ जांच कर रही है। जिससे छात्रों से जुड़े इस प्रकरण में जो दोषी हैं उन्हें जितना दोष है उसके अनुसार सजा एवं जो निर्दोष है उसे न्याय मिल सके।
स्कूल प्रशासन ने की बेहद लापरवाही
स्कूल में अगर एक माह से ऐसा प्रकरण चल रहा था तो उसके बावजूद भी स्कूल प्रशासन को इस बात की आखिर जानकारी क्यों नहीं हुई? स्कूल में सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम भी नहीं किए गए। पर्याप्त जगह पर सीसीटीवी कैमरे भी नहीं लगवाए गए। अगर पर्याप्त जगह पर सीसीटीवी कैमरे होते तो मामले का सत्यता से खुलासा किया जा सकता था।
अपना प्रभुत्व जमाने को छात्र को किया गया परेशान
एक छात्र ने जानकारी देते हुए बताया कि उसकी क्लास का ही एक छात्र उस पर रोब ग़ालिब करता था उसे काफी परेशान किया गया उसने इस बात की शिकायत अपने परिजनों से की तो स्कूल में शिकायत के बावजूद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई जिसके बाद वह लगातार उसे परेशान करता रहा उस बच्चे ने उसके साथ भी गलत काम करने का प्रयास किया था। जब उसने उसे गलत काम करते हुए देखा तो उसे भी मामले में फंसाया दिया गया।अभिभावक को इससे पहले कभी बच्चे की किसी भी गलत हरकत की कोई जानकारी या शिकायत स्कूल प्रशासन द्वारा नहीं की गई थी। यह बात भी पुरी घटना में कुछ तथ्य अभी भी छिपे होने की और इशारा करती है।